जर्मनी में सेकंड वर्ल्ड वॉर का बम मिला:5 हजार लोगों को सुरक्षित निकाला गया, डिफ्यूज करने में आधा घंटा लगा

जर्मनी के हैम्बर्ग प्रांत में सेकंड वर्ल्ड वॉर के टाइम का बम मिला है। शनिवार को स्टर्नशांजे जिले में बम की सूचना मिलने के बाद 300 मीटर के दायरे में रहने वाले करीब 5 हजार लोगों को सुरक्षित निकाला गया। इसके अलावा पुलिस ने इलाके के रेस्तरां और बार भी बंद करा दिए थे। पुलिस अधिकारियों के मुताबिक एक प्राइमरी स्कूल के कंस्ट्रक्शन के दौरान ये मिला था। अधिकारियों ने बताया कि बम को सुरक्षित तरीके से डिफ्यूज कर दिया गया है। इसे डिफ्यूज करने में करीब आधे घंटे का वक्त लगा था। बम मिलने की वजह से जिले में रेल सर्विस को भी रोकना पड़ा। जर्मनी में सेकेंड वर्ल्ड वॉर के बमों का मिलना आम बात है, जिन्हें बाद में डिफ्यूज कर दिया जाता है। पिछले हफ्ते जापान में फटा था बम जापान के दक्षिणी हिस्से में मियाजाकी एयरपोर्ट पर 3 अक्टूबर को एक बम विस्फोट हुआ था। इस बम को अमेरिका ने सेकंड वर्ल्ड वॉर के दौरान जापान पर गिराया था। हालांकि जब इसे गिराया गया, तब इसमें विस्फोट नहीं हो पाया था। इसकी वजह से ये दबा रहा। ये बम विस्फोट एयरपोर्ट के टेक्सी-वे की साइड में हुआ था। बम विस्फोट के बाद एयरपोर्ट पर उड़ानों को रद्द कर दिया गया था। पहले भी मिले हैं ऐसे बम
जर्मनी के कई शहरों में कंस्ट्रक्शन साइट पर काम के दौरान इस तरह के बम मिलते रहते हैं। इससे पहले 2023 में डसलडॉर्फ शहर में 500 किलो का एक बम मिला था। इसके बाद 13 हजार लोगों को टेम्परेरी तौर पर घर छोड़ने का आदेश दिया गया। 2021 में म्यूनिख में भी दूसरे विश्व युद्ध के समय का बम फट गया था, जिससे 4 लोग घायल हो गए थे। वहीं 2020 में भी फ्रैंकफर्ट में एक ब्रिटिश बम मिलने के बाद करीब 13 हजार लोगों को टेम्परेरी तौर पर घर छोड़ना पड़ा था। 2017 में फ्रैंकफर्ट में ही 1400 किलो का एक बम मिला था, जिसके बाद करीब 65 हजार लोगों को घर छोड़ना पड़ा था। वर्ल्ड वॉर 2 के दौरान 1940 से 1945 के बीच अमेरिका और ब्रिटेन की एयरफोर्स ने यूरोप पर करीब 27 लाख टन के बम गिराए थे। इनमें से आधे से ज्यादा बम जर्मनी में गिरे थे। कैसे और कब शुरू हुआ था दूसरा विश्व युद्ध
1 सितंबर 1939 को द्वितीय विश्व युद्ध की शुरुआत हुई थी। करीब 6 साल चले इस युद्ध में 7 से 8 करोड़ लोग मारे गए थे। 1 सितंबर को एडोल्फ हिटलर की अगुआई में जर्मनी ने कब्जे की मंशा से पोलैंड पर हमला कर दिया था। इस हमले से बौखलाए ब्रिटेन और फ्रांस पोलैंड की मदद के लिए आगे आए। इसके बाद जर्मनी के पक्ष में इटली और जापान जबकि पोलैंड के साथ फ्रांस, ब्रिटेन, अमेरिका, सोवियत संघ और कुछ हद तक चीन आमने-सामने आ गए। इसके बाद यह जंग विश्व युद्ध में तब्दील हो गई। यह युद्ध भी पहले विश्व युद्ध की तरह दो गुटों के बीच लड़ा गया था। जर्मनी के तानाशाह हिटलर ने युद्ध में जर्मनी को हारता देखकर 30 अप्रैल 1945 को आत्महत्या कर ली थी। हिटलर के मरने के एक हफ्ते बाद जर्मनी ने बिना किसी शर्त के समर्पण के कागजों पर दस्तखत कर दिए थे। इसके बाद 8 मई को जर्मनी ने आधिकारिक तौर पर हार मान ली। हालांकि जापान ने फिर भी जंग जारी रखी। इस पर 6 और 9 अगस्त को अमेरिका ने जापान के हिरोशिमा और नागासाकी शहर पर परमाणु बम से हमला किया, जिसके बाद वर्ल्ड वॉर खत्म हो गया। ———————— सेकेंड वर्ल्ड वॉर के बम मिलने से जुड़ी ये खबर भी पढ़ें… जर्मनी के बाद पोलैंड में मिला वर्ल्ड वॉर-2 का बम:250 किलो वजन, 14 हजार लोगों को सुरक्षित जगह भेजा; बॉम्ब स्क्वॉड ने निष्क्रिय किया पोलैंड के लुबलिन शहर में दूसरे विश्व युद्ध के समय का बम मिला है। इसके बाद शहर में करीब 14 हजार लोगों को अस्थायी रूप से घर छोड़ने का आदेश दिया गया। लोगों को स्कूलों और दूसरी बिल्डिंग में शिफ्ट किया गया। साथ ही उन्हें घरों में बिजली से चलने वाले सभी इक्विपमेंट्स, पानी और गैस को बंद करने के लिए कहा गया। पूरी खबर यहां पढ़ें…

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